तमिलनाडु में बड़ा ट्रेन हादसा: 19 लोग घायल
शुक्रवार की शाम, तमिलनाडु के कवराईपेट रेलवे स्टेशन के निकट एक बड़े रेल हादसे ने सभी का ध्यान खींचा। मैसूर-दरभंगा बागमती एक्सप्रेस एक स्थिर मालगाड़ी से टकरा गई, जिससे ट्रेन के 13 डिब्बे पटरी से उतर गए और दो डिब्बों में आग लग गई। हालांकि इस हादसे में कोई हताहत नहीं हुआ, लेकिन 19 लोग घायल हुए हैं। मौके पर मौजूद लोगों के लिए यह एक भयानक झटका था और राहत कार्य तुरंत शुरू कर दिए गए थे।
कैसे हुआ हादसा
रेलवे अधिकारियों ने बताया कि यह हादसा तब हुआ जब ट्रेन कवराईपेट स्टेशन में दाखिल हो रही थी। उस समय ट्रेन को मुख्य लाइन की बजाय लूप लाइन पकड़नी पड़ी, जिसके कारण यह मालगाड़ी से टकरा गई। इस त्रुटि का कारण अभी जांच में है, लेकिन प्राथमिक रूप से यह समझा जा रहा है कि जब ट्रेन सिग्नल पर लगी, तब वह लूप लाइन पर चली गई। यह निश्चित रूप से एक खतरनाक स्थिति थी, क्योंकि इसे मुख्य लाइन से अलग जाना चाहिए था।
अधिकारियों का प्रतिकृिया
रेलवे के दक्षिणी क्षेत्र के जनरल मैनेजर आर. एन. सिंह ने बताया कि ट्रेन को कवराईपेट पर नहीं रुकना था और इसके ग्रीन सिग्नल भी मिल चुके थे। हालांकि, एक स्विचिंग मुद्दे के कारण ट्रेन लूप लाइन पर पहुंच गई। इस दुर्घटना के तुरंत बाद रेलवे ने मौके पर बचाव कार्य शुरू किए और प्रभावित क्षेत्र में ट्रेनों की आवाजाही को रोक दिया गया।
मुख्यमंत्री का राहत कार्य
तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम. के. स्टालिन इस पूरे मामले पर करीबी नजर रख रहे हैं। उन्होंने राहत और बचाव कार्यों की निगरानी की और उनके साथ उप मुख्यमंत्री उदयनिधि स्टालिन भी वहां पहुंचे। उन्होंने चेन्नई के गवर्नमेंट स्टैनली मेडिकल कॉलेज में घायलों से मुलाकात की। राहत कार्य को तेजी से पूरा करने के लिए मंत्री अवाडी नासर और अन्य उच्च अधिकारी भी मौके पर मौजूद थे।
राहत प्रयास और आगे की कार्यवाही
रेलवे अधिकारियों ने यह भी बताया कि 95% से अधिक यात्रियों को सुरक्षित तरीके से कोचों से बाहर निकाल लिया गया है। हादसे वाली जगह पर एक विशेष ट्रेन भेजी गई, ताकि मैसूर-दरभंगा बागमती एक्सप्रेस के फंसे हुए यात्रियों को उनकी यात्रा जारी रखने में मदद मिल सके। रेलवे ने दो ट्रेनों को रद्द किया और आधा दर्जन से अधिक ट्रेनों को वैकल्पिक रास्तों पर भेजा।
घटनास्थल का मुआयना
नेशनल इन्वेस्टिगेशन एजेंसी (एनआईए) को जिम्मेदारी दी गई है कि वे इस घटना की विस्तृत जांच करें। हालाँकि अभी तक किसी भी प्रकार की बड़ी चूक या दुर्घटना के कारणों को स्पष्ट रूप से नहीं बताया गया है, लेकिन संकेत देते हैं कि इसकी जांच गंभीरता से की जा रही है। इस तरह की घटनाओं से पता चलता है कि क्यों रेलवे संरक्षा उपायों को लगातार सुधारने की जरूरत है।
Shrikant Kakhandaki
अक्तूबर 13, 2024 AT 04:13bharat varu
अक्तूबर 15, 2024 AT 00:12Vijayan Jacob
अक्तूबर 15, 2024 AT 04:07Saachi Sharma
अक्तूबर 15, 2024 AT 21:24shubham pawar
अक्तूबर 16, 2024 AT 13:05Nitin Srivastava
अक्तूबर 17, 2024 AT 10:41Nilisha Shah
अक्तूबर 17, 2024 AT 16:27Kaviya A
अक्तूबर 17, 2024 AT 22:34Supreet Grover
अक्तूबर 19, 2024 AT 18:43Saurabh Jain
अक्तूबर 19, 2024 AT 19:44Suman Sourav Prasad
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अक्तूबर 20, 2024 AT 02:18Vivek Pujari
अक्तूबर 22, 2024 AT 02:09Ajay baindara
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अक्तूबर 25, 2024 AT 19:26Rupesh Nandha
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अक्तूबर 26, 2024 AT 21:45Nadeem Ahmad
अक्तूबर 27, 2024 AT 06:24Aravinda Arkaje
अक्तूबर 28, 2024 AT 02:44kunal Dutta
अक्तूबर 29, 2024 AT 09:54Saachi Sharma
अक्तूबर 29, 2024 AT 18:57